28 फ़रवरी, 2011

बियाह बिहार में

एलबम पार्ट वन

फोटो 1-- घर जगमग, हेलोजेन के लाइट, गाँछ पर लड़ी, चेहरों पर खुशी, साज सिंगार, जाड़ा में शिफॉन के साड़ी पर कत्थई कार्डिगन, लीला बुआ, अल्पना दीदी और चंपाकली छमक छल्लो

फोटो 2-- जिनगी के अरमान पूरा होए के खुशी से दमकत चेहरा, नारंगी साड़ी पियर सेनूर (मे बी अदर वे राउंड), भर-भर आँख काजर, केहुनी तक लहठी, गुलाबी टोकरी में चुनरी से ढाँकल पूजा के सामान, डेराइल दुल्हिन के पीछे खड़ा इस्माट भउजी

फोटो 3-- बुढ़िया नानी, टूटल चस्मा, दाँत में फाँक, मचकल मचिया, केयरिंग भतीज-पतोह, पिलेट में अकेला उदास लड्डू

फोटो 4-- लाल पियर पंडाल, दवाई वाला टुन्नू, नौकरी खोजे वाला लल्लन, गोपेसरा एन्ने काहे झांक रहा है...टोकरी ले जा रहा फगुनी, टेंट हाउस वाला जइसा बोला था, सोभ रहा है, डंडी न मारिस है...

फोटो 5-- तीन आदमी, ई कोट वाला, दिल्ली से आए हैं, फुलेसर जी के दमाद आईसीआईसीआई बैंक दिल्ली में हैं, दुसरका बुल्लु कमीज वाला आईएस का तय्यारी में है और कोना में नीलेश भइया हैं सीसीटीवी में हैं

फोटो 6-- राज दरबार टाइप का बनाया है, फूल कलकत्ता से लाया है, का जाने झूठ बोल रहा होगा लेकिन एकदम सेंट आ रहा था, दुल्हा-दुल्हिन का कुर्सी है, एके दिन का बात है लेकिन सबका अपना अरमान होता है, है कि नहीं?

फोटो 7-- खाना लग गया है, तरबूज्जा के सारस बनाया है अलबत्त, पिलेट काँच का नहीं है, "जगदंबा बाबू के बेटवा के बियाह में तो दस-बीस गो तो धोनही में टूट गया था, मेलामाइन है, टूटता नहीं है, टेंटहाउस वाला चालू है, एजी धक्का मत दीजिए, ढेर भुखाइल हैं तो आप ही जाइए पहिले...

फ़ोटो 8-- बरदी वाला बेटर लगइले हैं, अरे, इ तो रेकसा वाला फेकुआ के बेटा है, पिलेटवा लेके कहवाँ बइठे जी, बड़ा शहर में सब काम खड़े खड़े होता है का? , जब से इनका बेटवा बंबई गया है तब से रंग ढंग बदल गया है

फोटो 9-- एगो कट्टल बाल वाली है, तीन आदमी कनखी से देख रहा है, उसकी सहेली मुँह तोपके हँस रही है, दूर में दिल्ली जाने की तैयारी कर रहा लड़का है जो कनखी से नहीं, सीधे देख रहा है, वह इस फोटो में नहीं है

फोटो 10-- रात के शामियाना में काला चश्मा, लोकल रजनीकांत, पीला धारीवाली पैंट और नीला कोट, अंदर से झाँकती बैंगनी टी-शर्ट, हम किसी से कम नहीं वाली अदा, दबंग हिट होने के बाद आया नया कॉन्फिडेंस, दो-तीन लोकल फ़ैन भी

फोटो 11-- आटा चक्की वाला का बेटवा बीडियो कैमरा लेके आया था, रिकार्डिंग के लिए तो टुन्नुवा को कान्ट्रेक्ट देल्ले था पहिले से, अरे कैमरे देखाने लाया था, अरे नहीं, मुन्ना का दोस्त है इसलिए, पइसा बहुत है लेकिन देखाता नहीं है जादा....

फोटो 12-- मरकरी के नीचे बइठे थे, चेहरा साफ़ नहीं लउक रहा है, ढेर लाइट हो गया, दया मास्टर जी, कन्हाई चच्चा, शिवबचन जी और के जाने कउन है...

फोटो 13-- कोई बोला नहीं, रोसड़ा वाले फुफ्फा बियाहो के दिन बिना दाढ़ी बइनले घूम रहे हैं, जनमासा में तो फिरी का नउआ बइठल था ऐँ, इन्हीं को एतना ठंडा लग रहा था और कौन सकरात के बाद मफलर बाँध के घूमता है... दरोगा जी ओने का देख रहे हैं??

फोटो 14-- लाल टोपी वाला लइका शायद कंचनवा का है, पता नहीं कौन गोदी में लेले है, रील बरबाद करते हैं, केकर केकर फोटो खींच लिया है....

फोटो 15-- ले, दुल्हिन के फोटो के पता नहीं, खाना का डोंगा में कैमरा गोत के फोटो खींचा है, ई का है जी??, नवरतन कोरमा, ऐं? सलाद नहीं सैलेड कह रहा था कोई बरियाती...

फोटो 16-- पाँच आदमी खड़े हैं, एक तन के, एक भौंचक, एक उदास, एक सजग, एक उदासीन....

फोटो 17---पाँचों उँगली में अँगुठी पहिने बिधायकी के उम्मीदवार जी, चारों तरफ़ सूरजमुखी की तरह मुँह उठाए लोग, एक चश्मे पर चमका फ्लैश, "लगन के टाइम बहुत शादी अटेंड करनी पड़ती है" वाला भाव, गुलाबजामुन का दोना लिए कोई, "आप आए, हम धन्य हुए" वाली मुद्रा में...

फोटो 18-- गपुआ को देखिए जरा, जर रहा है, बियाह नहीं न हुआ अबहीं ले, हाँ, हर जगहे मनहूस मुँह बनाके खड़ा हो जाता है, ई पीला धारी वाला दुर्गा चचा के बेटा है, ई साल आईआईटी में नहीं हुआ, लेकिन डोनेशन वाला में सौथ इंडिया जाने वाला है...

फोटो 19-- भोला चाचा, रिटायर हो गए हैं लेकिन अफसरी रुआब अबइहों ले है, गंभीर आदमी हैं, पीछे तिनकौड़ी साहू, बड़ा बाबू, बुच्चन जी और उनके साढू जो लल्लन जी के मउसेरा भाई भी हैं...

फोटो 20-- शिवगंगा बैंड, माथे पर लैट उठाए औरतें, गुलाब से सजी गाड़ी, गले में गेंदे का हार पहने बराती, तनकर चलते मउसा जी, लाइट में हाइलाइट होता बीबीजे कोचिंग सेंटर का विज्ञापन

फोटो 21-- अरे, पाँच-छौ गो नाती-पोता के साथ आए थे फुलेसर महराज, नहीं सुधरेंगे, एकवायन रूपया असूल करने के चक्कर में होंगे, देखिए कुरसिए के नीचे कचरा बिग रहा है, कोई दोसरा के भी तो हो सकता है ऊ कचरा...

फोटो 22-- अपनी पम्मी कितनी सुंदर दिख रही है, अगर यही फोटो भेज दिया जाए तो तुरंत बियाह ठीक हो जाएगा, लल्लनवा पाकेट में हाथ रखके खड़ा है, लगता है बहुत पइसा है पाकिट में....

फोटो 23-- वही हम कहें, जैमाल वाला फोटो कहाँ गया, ई रहा, लैट कम है, चेहरा पर नहीं हैॉ, ठीक-ठीक है, नेचुरल है, दिख तो रहा है....

फोटो 24-- क्लोज अप, एक दम्मे रवीना टंडन टाइप, दुर. आपको कोई और नहीं मिला था...

कच्ची और विदाई वाला दूसरा एलबम में है, दुल्हा तो ई एलबम में हइये नई है...